Introduction to Price Action Trading in Hindi:
प्राइस एक्शन(Price Action Trading ) शब्द का मतलब कीमत का बदलाव जो किसी शेयर या संपत्ति में एक निर्दिष्ट समय के लिए होता है।
ट्रेडिंग में काम आने वाली सबसे उपयोगी स्ट्रेटेजी है प्राइस एक्शन इसके मदद से आप बिना किसी इंडीकेटर्स का इस्तेमाल किये ट्रेड का पता लगा सकते है।
और आप पुराने कीमतों के चलन से पता लगा सकते है आगे मार्केट किस तरफ जाने वाली है। आज इस लेख हम इसी महान रणनीति के बारे में जानेंगे जिसे अभ्यास में लाकर आप भी ट्रेडिंग कर सकते है।
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग क्या है ?Price Action Trading Kya Hota Hai ?
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग एक ऐसी ट्रेडिंग तकनीक है जिसमें ट्रेडर केवल मूल्य के इतिहास (price history) और हाल के उतार-चढ़ाव का विश्लेषण करता है।
इसमें इंडिकेटर्स जैसे RSI, MACD, या किसी अन्य तकनीकी संकेतक(Indicatior )का उपयोग नहीं किया जाता है, बल्कि कीमत के पैटर्न्स, कैंडलस्टिक पैटर्न्स और Support और Resistance स्तरों के आधार पर निर्णय लिए जाते हैं। इसे “नग्न चार्ट” ट्रेडिंग भी कहा जाता है क्योंकि इसमें केवल चार्ट पैटर्न पर ध्यान केंद्रित किया जाता है।
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग पूरी तरह से डिमांड और सप्लाई कांसेप्ट पर निर्भर करता है।
Importance of Price Action in Trading: प्राइस एक्शन क्यों ज़रूरी है?
दोस्तों, जब हम ट्रेडिंग की बात करते हैं, तो सबसे पहली चीज़ जो हमें समझनी चाहिए, वो है प्राइस का मूवमेंट।
प्राइस चार्ट हमें यह दिखाता है कि खरीदार और विक्रेता बाजार में कैसे काम कर रहे हैं। इसे हम प्राइस एक्शन कहते हैं।
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग में हम सिर्फ प्राइस के मूवमेंट को देखकर ट्रेड करने के फैसले लेते हैं, न कि किसी इंडिकेटर पर निर्भर रहते हैं।
सोचिए, अगर आप किसी रास्ते पर जा रहे हैं और वहां पहले से एक नक्शा बना हुआ है, तो वो आपको सही दिशा दिखाएगा। ठीक वैसे ही, प्राइस एक्शन हमें यह समझने में मदद करता है कि बाजार किस दिशा में जा सकता है।
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग से आपको ये फायदे मिलते हैं:
- सीधी और स्पष्ट जानकारी: यह आपको कंफ्यूज नहीं करता, जैसे कई इंडिकेटर्स करते हैं।
- मूलभूत समझ: आप बाजार के खरीदार और विक्रेता के इरादों को समझ पाते हैं।
- फास्ट डिसीजन: प्राइस एक्शन से आपको तुरंत निर्णय लेने में मदद मिलती है।
Price Action vs Indicators: Which is Better? प्राइस एक्शन बनाम इंडिकेटर्स: कौन बेहतर है?
प्राइस एक्शन :Price Action
- इसका मतलब होता है प्राइस का मूवमेंट देखना।
- इसमें हम चार्ट और Candlestick के पैटर्न पर ध्यान देते हैं।
- यह सीधा और रियल टाइम डेटा दिखाता है।
इंडिकेटर्स: Indicators
- ये गणितीय फॉर्मूला पर काम करते हैं (जैसे RSI, Moving Average)।
- यह पिछले डेटा को देखकर भविष्य का अंदाज़ा लगाने में मदद करते हैं।
- ये कुछ समय में डिले हो सकते हैं।
क्या बेहतर है?
- प्राइस एक्शन ज्यादा सही और सरल है, क्योंकि यह सीधे प्राइस की दिशा बताता है।
- इंडिकेटर्स शुरुआती के लिए मददगार हो सकते हैं, लेकिन ज्यादा डिले और कंफ्यूज़न कर सकते हैं।
- दोनों का संतुलित इस्तेमाल बेहतर है: 70% प्राइस एक्शन, 30% इंडिकेटर्स।
Basics of Price Action Trading:प्राइस एक्शन ट्रेडिंग के बुनियादी बाते :
आगे बढ़ने से पहले में आपको बुनियादी अबधारणाओ के बारे में बताना चाहूंगा जो प्राइस एक्शन ट्रेडिंग में समझनी होती है, जो की निम्नलिखीत है।
Components of Price Action Trading:
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग का मूल मंत्र है प्राइस मूवमेंट को समझ बिना किसी इंडिकेटर के। इसमें 4 मुख्य घटक होते हैं:
- सपोर्ट और रेजिस्टेंस, जो बाजार के महत्वपूर्ण प्राइस लेवल्स को दिखते ह
- कैंडलस्टिक पैटर्न, जो मार्केट सेंटीमेंट को समझाते हैं;
- ट्रेंडलाइन, जो बाजार के ट्रेंड को पहचानते हैं; और
- प्राइस पैटर्न, जो भविष्य में मूल्य परिवर्तन के संकेत मिलते हैं।
सभी घटकों को समझकर, आप बाजार के व्यवहार का सटीक अनुमान लगा सकते हैं और अपने Trading निर्णयों को बेहतर बना सकते हैं।
Candlestick Patterns in Price Action:
कैंडलस्टिक पैटर्न्स ट्रेडिंग में बहुत अहम हैं क्योंकि यह हमें शेयर की कीमतों की कहानी बताते हैं।
हर कैंडल एक दिन, घंटा या मिनट की कीमतों का हिसाब देती है – ओपनिंग, क्लोजिंग, हाई और लो। इनके पैटर्न से हम समझ सकते हैं कि बाजार में खरीदने वाले और बेचने वाले क्या सोच रहे हैं।
उदाहरण के लिए, अगर ‘बुलिश इंगल्फिंग’ पैटर्न बनता है, तो यह दिखाता है कि खरीदारों का दबदबा बढ़ रहा है।
इन पैटर्न्स को समझकर हम यह अनुमान लगा सकते हैं कि अगला मूव ऊपर की तरफ होगा या नीचे। इसलिए, कैंडलस्टिक पैटर्न्स को सीखना ट्रेडिंग में सफलता पाने के लिए बेहद जरूरी है।
Why Choose Price Action Trading?Price Action Trading क्यों चुनें?
Price Action Trading ट्रेडिंग का एक सरल और प्रभावी तरीका है जिसमें सिर्फ प्राइस मूवमेंट (चार्ट पर कैंडल्स) को देखकर ट्रेडिंग के फैसले लिए जाते हैं।
इसमें किसी इंडिकेटर या जटिल टूल्स की जरूरत नहीं होती, जिससे शुरुआत करने वालों के लिए इसे समझना और अपनाना आसान हो जाता है।
यह तरीका सिखाता है कि मार्केट के प्राइस पैटर्न और सपोर्ट-रेजिस्टेंस जैसे बेसिक कांसेप्ट्स को पहचानकर सही समय पर एंट्री और एग्जिट करें।
अगर आप बिना ज़्यादा तकनीकी जटिलताओं के मार्केट को समझना चाहते हैं, तो Price Action Trading आपके लिए एक बेहतरीन विकल्प है।
Disadvantages of Price Action Trading:प्राइस एक्शन ट्रेडिंग की कमिया:
“प्राइस एक्शन ट्रेडिंग एक आसान और सीधा तरीका लगता है, लेकिन इसमें कई चुनौतियाँ होती हैं।
- सबसे बड़ी कमी यह है कि इसमें केवल प्राइस के आधार पर फैसले लिए जाते हैं, जिससे कई बार बाजार की असली दिशा समझना मुश्किल हो सकता है।
- इसमें इमोशन्स यानी भावनाएँ ज़्यादा हावी हो जाती हैं, जिससे गलत फैसले लेने का खतरा बढ़ जाता है।
- इसके अलावा, बिना सही अनुभव और अभ्यास के, नए ट्रेडर्स को बार-बार लॉस हो सकता है,
क्योंकि हर प्राइस मूवमेंट का मतलब नहीं होता कि बाजार उसी दिशा में जाएगा।इसलिए, केवल प्राइस एक्शन पर भरोसा करने से नुकसान हो सकता है।”
Learning and Mastering Price Action Trading:
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग सीखना बच्चो की बात नहीं है लेकिन अगर सिख गया तो बच्चा भी कर सकता है।
Price Action ट्रेडिंग में आपको बस अपने आँखों का अभ्यास करना होता है जिससे आप प्राइस चार्ट्स को बार बार देख कर पता लगा सकते है की मार्किट किस तरफ जा सकती है,
और इसे सिखने के लिए मैंने निम्लिखित स्टेप बाई स्टेप जानकारी दी है।
Steps to Learn and Master Price Action Trading: Price Action Trading को सीखने के स्टेप्स:
1. समझें कि Price Action क्या है
Price Action का मतलब है प्राइस की हरकत या मूवमेंट। जब भी आप चार्ट देखते हैं, वहां प्राइस ऊपर-नीचे होता रहता है। इस मूवमेंट को देखकर आप यह अंदाजा लगा सकते हैं कि प्राइस आगे कैसे बढ़ सकता है।
Key चीजें देखें:
- प्राइस कहां से ऊपर गया (Support और Resistance)।
- कैंडलस्टिक पैटर्न (जैसे Doji, Hammer, Engulfing)।
- ट्रेंड (Trend) – यानी प्राइस ऊपर की तरफ जा रहा है या नीचे।
2. चार्ट को ध्यान से देखें और समझें
Price Action समझने के लिए सबसे पहले चार्ट पढ़ना सीखना जरूरी है।
- टाइमफ्रेम चुनें:
- अगर आप Intraday ट्रेडिंग करना चाहते हैं तो 5 मिनट या 15 मिनट का चार्ट देखें।
- अगर Swing या Positional ट्रेडिंग करना चाहते हैं तो Daily या Weekly चार्ट देखें।
- चार्ट के महत्वपूर्ण भाग:
- प्राइस के High और Low पॉइंट्स।
- Breakout और Breakdown लेवल।
- कैंडलस्टिक की फॉर्मेशन।
3. Support और Resistance लेवल को पहचानें
Support वह जगह है जहां प्राइस नीचे गिरने के बाद रुकता है और वापस ऊपर जाने लगता है। Resistance वह जगह है जहां प्राइस ऊपर जाने के बाद रुकता है और नीचे गिरने लगता है।
- जब प्राइस Support के पास हो, तो Buy करने का सोचें।
- जब प्राइस Resistance के पास हो, तो Sell करने का सोचें।
4. Trend को समझें और उसके साथ ट्रेड करें
“Trend is your friend” का मतलब है कि अगर प्राइस ऊपर जा रहा है (Uptrend), तो Buy कीजिए। अगर प्राइस नीचे जा रहा है (Downtrend), तो Sell कीजिए।
- Uptrend में Higher High और Higher Low बनते हैं।
- Downtrend में Lower High और Lower Low बनते हैं।
5. कैंडलस्टिक पैटर्न पर ध्यान दें
कुछ खास कैंडलस्टिक पैटर्न आपको Price Action को समझने में मदद करेंगे:
- Hammer: यह दर्शाता है कि प्राइस नीचे से ऊपर जाने वाला है।
- Doji: जब मार्केट कन्फ्यूज हो।
- Engulfing Pattern: ट्रेंड बदलने का संकेत।
6. डेमो अकाउंट पर अभ्यास करें
सीखने के लिए प्रैक्टिस जरूरी है। सबसे पहले डेमो अकाउंट पर ट्रेड करें।
- छोटे-छोटे ट्रेड से शुरुआत करें।
- हर ट्रेड के बाद उसे एनालाइज करें कि क्या सही था और क्या गलत।
Supply and Demand Concepts in Price Action:
डिमांड (Demand): जब बहुत सारे लोग किसी चीज़ को खरीदना चाहते हैं, तो उसकी डिमांड बढ़ जाती है। इसका मतलब है कि लोग उसे खरीदने के लिए ज्यादा पैसे देने को तैयार होते हैं।
सप्लाई (Supply): जब बहुत सारी चीज़ें बेचने के लिए उपलब्ध होती हैं, लेकिन खरीदने वाले कम होते हैं, तो सप्लाई बढ़ जाती है। इसका मतलब है कि प्रोडक्ट को बेचने के लिए लोग कीमत कम कर सकते हैं।
प्राइस एक्शन में सप्लाई और डिमांड कैसे काम करता है?
- डिमांड जोन (Demand Zone):
- यह वह एरिया है जहां बहुत सारे खरीदार(Buyers) मौजूद होते हैं।
- जब प्राइस इस जोन में आता है, तो लोग खरीदारी शुरू कर देते हैं, और प्राइस ऊपर जाने लगता है।
- इसे आप इस तरह समझ सकते हैं कि यहां “खरीदारी का आकर्षण” है।
उदाहरण:
अगर कोई स्टॉक ₹100 पर बार-बार रुक कर ऊपर जाता है, तो वह ₹100 एक डिमांड जोन है। - सप्लाई जोन (Supply Zone):
- यह वह एरिया है जहां बहुत सारे विक्रेता(Sellers) होते हैं।
- जब प्राइस इस जोन में आता है, तो लोग बेचने लगते हैं, और प्राइस नीचे गिरने लगता है।
- इसे आप “बेचने का दबाव” कह सकते हैं।
उदाहरण:
अगर कोई स्टॉक ₹150 पर बार-बार रुक कर नीचे गिरता है, तो वह ₹150 एक सप्लाई जोन है।
Advanced Price Action Strategies:
1:Breakout Strategy(Trendline Breakout):
इस स्ट्रेटेजी में प्राइस जब हमारे बनाये हुए सपोर्ट या रेजिस्टेंस को तोरती है। उसके हिसाब से ही ट्रेड प्लान किया जाता है। आप इसमें Long या Short पोजीशन ले सकते है।
Tip:इंस्टीटूशन बाइंग जोन या सेल्लिंग जोन जिसे (Supply और Demand ) जोन भी कहते है , जिसे जानना जरुरी है वरना आप फेक ब्रेकआउट में फस सकते है।
2:Rectangle Pattern Breakout:
इस स्ट्रेटेजी में आपको चार्ट पैटर्न्स की जानकारी होना आबश्यक है और उन्ही पैटर्न में एक होता है रेक्टेंगल पैटर्न।
जब प्राइस सपोर्ट और रेजिस्टेंस के अंदर ही ऊपर निचे होती है और मार्केट साइडवेस में रहती है तब यह पैटर्न बनता है। और जैसे ही प्राइस सपोर्ट या रेजिस्टेंस को तोड़ती है तभी आप एंट्री कर सकते है।
अगर प्राइस निचे की तरफ तोड़ती है तो आप शार्ट (Short ) कर सकते है और ऊपर की तरफ तोड़ती है तो बाई (Long ) कर सकते है।
Best Time Frames for Price Action Trading Analysis:
Scalping (Short-Term Trading):
- Timeframe: 1 मिनट, 5 मिनट, या 15 मिनट।
- उपयोग: बहुत तेजी से ट्रेड लेने और छोटे छोटे कीमत के हलचल का फायदा उठाने के लिए।
- लक्ष्य: Intraday में छोटे-छोटे profits।
- नोट: Scalping के लिए अनुशाषण और फ़ास्ट डिसिशन लेने की जरूरत होती है।
Intraday Trading:
- Timeframe: 15 मिनट, 30 मिनट, या 1 घंटे।
- उपयोग: एक ही दिन के अंदर कीमत के बदलाव को analyze करके ट्रेड लेना।
- लक्ष्य: दिनभर के उतार चढ़ाओ से profit कमाना।
- नोट: Clear strategy और risk management ज़रूरी है।
Swing Trading (Medium-Term Trading):
- Timeframe: 1 घंटा, 4 घंटा, या daily chart।
- उपयोग: कुछ दिनों से लेकर हफ्तों तक ट्रेड को hold करना।
- लक्ष्य: ट्रेंड का फायदा उठाकर बड़े moves से लाभ कमाना।
- नोट: यह टाइमफ्रेम नए ट्रेडर्स के लिए अच्छा होता है क्योंकि decisions के लिए ज्यादा समय मिलता है।
10 Mistakes to Avoid in Price Action Trading:
प्राइस एक्शन ट्रेडिंग करने में बोहत सारे नए लोग गलतिया करते है निचे उन्ही गलतियों के बारे में और उसे कैसे सुधारे इसकी जानकारी दी हुई है। जिसे पढके आप गलतिया करने से बचेंगे।
1. बिना प्राइस एक्शन को समझे ट्रेड करना:
गलती: चार्ट पर बिना सही पैटर्न को पहचाने ट्रेड करना।
सही तरीका: पहले प्राइस एक्शन के बेसिक पैटर्न जैसे सपोर्ट, रेजिस्टेंस, कैंडलस्टिक पैटर्न समझें।
2. हर मूवमेंट को ट्रेड करना:
गलती: हर छोटे-छोटे प्राइस मूवमेंट पर ट्रेड करना।
सही तरीका: केवल स्पष्ट और पक्के ट्रेड सेटअप्स पर ही ट्रेड करें।
3. बिना स्टॉप लॉस के ट्रेड करना
गलती: अपने ट्रेड में स्टॉप लॉस नहीं लगाना।
सही तरीका: हर ट्रेड में पहले से स्टॉप लॉस सेट करें ताकि नुकसान कंट्रोल में रहे
4. ओवरट्रेडिंग करना
गलती: हर समय ट्रेडिंग करना और ज्यादा ट्रेड्स लेना।
सही तरीका: केवल क्वालिटी ट्रेड सेटअप्स पर फोकस करें।
5. इमोशंस से ट्रेड करना
गलती: डर या लालच में आकर डिसीजन लेना।
सही तरीका: अपने ट्रेडिंग प्लान को फॉलो करें, इमोशंस को हटाकर।
6. बहुत सारे इंडिकेटर्स पर निर्भर रहना
गलती: चार्ट को इंडिकेटर्स से भर देना।
सही तरीका: केवल प्राइस एक्शन पर ध्यान दें, कम से कम इंडिकेटर्स का इस्तेमाल करें।
7. टाइमफ्रेम बदलते रहना
गलती: एक ही ट्रेड में बार-बार अलग-अलग टाइमफ्रेम देखना।
सही तरीका: एक तय टाइमफ्रेम चुनें और उसी पर फोकस करें।
8. रिस्क/रिवॉर्ड को इग्नोर करना
गलती: रिस्क और रिवॉर्ड का ध्यान नहीं रखना।
सही तरीका: हर ट्रेड में कम से कम 1:2 का रिस्क/रिवॉर्ड रेशियो रखें।
9. बिना बैकटेस्टिंग किए लाइव ट्रेड करना
गलती: प्राइस एक्शन स्ट्रेटेजी को टेस्ट किए बिना असली पैसे से ट्रेड करना।
सही तरीका: पहले डेमो अकाउंट पर बैकटेस्ट करें, फिर लाइव ट्रेडिंग करें।
10. लगातार सीखने की आदत न बनाना
गलती: सीखने और प्रैक्टिस को नजरअंदाज करना।
सही तरीका: ट्रेडिंग जर्नल बनाएँ और अपनी गलतियों से सीखें।
Conclusion:
प्राइस एक्शन हमें चार्ट पर कीमतों की चाल और मार्केट के बिहेवियर को समझने का तरीका देता है। इसमें किसी इंडिकेटर या कॉम्प्लिकेटेड टूल्स की जरूरत नहीं होती, बस प्राइस के मूवमेंट और कैंडलस्टिक पैटर्न को ध्यान से देखना होता है।
इससे आप समझ सकते हैं कि मार्केट किस दिशा में जा सकता है, कब एंट्री लेनी है, और कब एग्ज़िट करना है।
प्राइस एक्शन आपको ट्रेडिंग में सटीक और जल्दी फैसले लेने की ताकत देता है, जो हर सफल ट्रेडर के लिए जरूरी है।”
FAQs :
Who Invented Price Action Trading?
: Munehisa Homma
Is Price Action Part of Technical Analysis?
:हाँ
How Accurate is Price Action Trading?
:प्राइस एक्शन ट्रेडिंग 100 प्रतिशत सटीक नहीं है ,लेकिन ये बोहत ज्यादा कामलायक है। किसी किसी का कहना है प्राइस एक्शन एक बोहत अच्छा टूल की तरह काम करता है ,
Is Price Action Trading Profitable?
:हां,बसर्ते इसे कैसे इस्तेमाल किया जाय।
What is the success rate of Price Action Strategies ?
:सब कुछ जानने के और करने के बावजूद ये 75 % या उससे ज्यादा सटीक हो सकती है।
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